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Blog Entry# 4236489
Posted: Feb 19 2019 (17:19)

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Feb 19 2019 (17:19)   PNP/Panipat Junction (5 PFs)
Deepak Bansal
Deepak Bansal   40 blog posts
Entry# 4236489            Tags   Past Edits
रोहतक-पानीपत-जींद लाइन पर दौड़ेगी इलेक्ट्रिक ट्रेन, इलैक्ट्रिकरण का 70 प्रतिशत काम पूरा, मार्च के अंत तक कार्य पूर्ण होने की उम्मीद
अमर उजाला ब्यूरो
पानीपत। रोहतक-पानीपत-जींद रेलवे लाइन पर शीघ्र ही इलेक्ट्रिक ट्रेन दौड़ने लगेगी। इस लाइन पर खंभे लगाने और इलेक्ट्रिकल वायर लगाने का लगभग 70 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है। संभावना जताई जा रही है कि मार्च के अंत तक इलेक्ट्रिकरण का कार्य पूरा कर लिया जाएगा। इसके बाद इस लाइन पर भी बिजली से चलने वाली ट्रेन दौड़ने लगेगी। इसके साथ ही पानीपत से रोहतक व जींद
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आने-जाने वाले यात्रियों को बिजली से दौड़ने वाली ट्रेन की सुविधा मिलेगी। रेलवे की योजना के अनुसार रेलवे की ओर से रेवाड़ी से रोहतक, गोहाना व पानीपत से जींद तक इलेक्ट्रिक लाइन बिछाने का काम किया जा रहा है। इस लाइन पर इलेक्ट्रिकरण के कार्य में लगभग 70 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। अकेले पानीपत रोहतक लाइन के इलेक्ट्रिकरण के कार्य में करीब 38 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। अब तक रोहतक-पानीपत-जींद रूट पर चलने वाले यात्रियों को डीजल इंजन से चलने वाली ट्रेन में सफर करना पड़ रहा है। रेलवे ने रोहतक से वाया पानीपत जींद तक बिजली लाइन बिछाने के लिए गुरुग्राम की केईसी इंटनेशनल कंपनी को दिसंबर 2017 ठेका दिया था। निर्माण कार्य पूरा करने का लक्ष्य मार्च 2019 मार्च तय किया गया है।
210 किलोमीटर लंबे एरिया में लगेंगे 4 हजार खंभे
रेलवे की ओर से रेवाड़ी से रोहतक, गोहाना व पानीपत से जींद तक इलेक्ट्रिक लाइन बिछाने का काम किया जा रहा है। ऐसे में यह लगभग 210 किलोमीटर लंबा एरिया है। इसमें प्रति किलोमीटर के हिसाब से लगभग 20 बिजली के खंभे लगाए जाएगें। इस तरह इस लाइन पर बिजली के लगभग 4 हजार खंभे लगेंगे। अकेले पानीपत-जींद रेलमार्ग पर 1400 खंभे लगाए जाएंगे। इनमें 1170 खंभे सिंगल लगेंगे जबकि 230 खंभे स्टेशनों पर डबल लगेंगे। इलेक्ट्रिक खंभे लगाने व वायरिंग का कार्य 70 प्रतिशत तक पूर्ण हो चुका है।
जींद-पानीपत-रोहतक ट्रैक पर दौड़ती है डीजल इंजन ट्रेन
जींद-पानीपत-रोहतक रेलवे ट्रैक पर यात्रियों को अब तक डीजल इंजन से चलने वाली ट्रेन में सफर करना पड़ रहा है। जींद-पानीपत ट्रैक पर 6 तथा पानीपत-रोहतक ट्रैक पर 16 ट्रेनों का आवागमन होता है। पानीपत-जींद ट्रैक पर जींद-पानीपत-रोहतक पैसेंजर ट्रेन के अप व डाऊन में 6 फेरे लगते हैं। वहीं पानीपत-रोहतक रेलवे लाइन पर फिलहाल रोहतक-चंडीगढ़ गरीब रथ, जींद-पानीपत-रोहतक पैसेंजर ट्रेन, भिवानी-पानीपत मेल, बीकानेर-हावड़ा एक्सप्रेस, रोहतक पानीपत पैसेंजर ट्रेनें शामिल हैं जो डीजल इंजन से ही चलती हैं। इलेक्ट्रिक लाइन बिछाए जाने के बाद जींद-पानीपत-रोहतक रेलवे ट्रैक पर इलेक्ट्रिक ट्रेनें दौड़ने लगेंगी।
समय की होगी बचत
इलेक्ट्रिक ट्रेन चलने से यात्रियों के समय की भी बचत होगी। अब तक डीजल इंजन से चलने वाली ट्रेन में पानीपत से जींद तक जाने में लगभग दो घंटे 10 मिनट का समय लगता है। वहीं पानीपत से रोहतक जाने में पैसेंजर ट्रेन में कम से कम 2 घंटे का समय लगता है। जबकि इलेक्ट्रिक ट्रेन चलने से लगभग एक घंटे की बचत होगी।
प्रतिदिन करीब 14 हजार लोगों को मिलेगा फायदा
जींद-पानीपत-रोहतक लाइन पर इलेक्ट्रिक ट्रेन शुरू होने से इस रूट के करीब 14 हजार यात्रियों को प्रतिदिन फायदा होगा। पानीपत से जींद 14 तथा पानीपत से रोहतक 11 रेलवे स्टेशन हैं जिनसे प्रतिदिन हजारों यात्रियों का आवागमन होता है। इन स्टेशनों से आसपास के हजारों लोग प्रतिदिन पानीपत के विभिन्न उद्योगों में काम करने आते हैं। इसके अलावा दिल्ली, सोनीपत, करनाल, कुरुक्षेत्र,अंबाला, चंडीगढ़ आने-जाने के लिए भी इस मार्ग के लोगों का पानीपत पहुंचने का प्रमुख जरिया है।
इलेक्ट्रिकरण का कार्य लगभग 70 प्रतिशत पूर्ण : कपूर
पानीपत से रोहतक तथा पानीपत से जींद तक बिजली की इलेक्ट्रिक लाइन लगाने का काम लगभग 70 प्रतिशत पूरा हो चुका है। खंभे लगाने व इलेक्ट्रिक वायर लगाने का कार्य किया जा रहा है। इस कार्य में लगभग 70 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इलेक्ट्रिक लाइन बिछाने का ठेका गुरुग्राम की केइसी कंपनी को दिया गया था। इस कार्य को पूरा करने के लिए मार्च 2019 तक का समय निर्धारित किया गया है। इस ट्रैक पर इलैक्ट्रिक ट्रेन चलने की सुविधा मिलने के बाद ट्रेनों की संख्या बढने की भी संभावना है।
-धीरज कपूर, स्टेशन अधीक्षक, पानीपत।

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