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Blog Entry# 5958488
Posted: Feb 01 (20:13)
8 Responses
Last Response: Feb 09 (12:38)
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आज के रेलवे बजट में शाहाबाद और पटना और आसपास के लोगों को निराशा ही हाथ लगी है। आरा सासाराम रेलवे लाइन का दोहरीकरण की कोई बात ही नही है और शाहाबाद के लोगों के लिए बहुप्रतीक्षित आरा भभुआ रेल लाइन के लिए मात्र एक हजार रूपए और इसी प्रकार पटना और औरंगाबाद के लोगों के लिए बहुप्रतीक्षित बिहटा औरंगाबाद रेलवे लाइन के लिए मात्र तीस लाख रुपए का आवंटन इस क्षेत्र में रहने वाले लोगों के साथ मजाक नहीं तो क्या है ? इसी प्रकार आरा बलिया रेल लाइन भी अनिश्चितता की स्थिति में है।
3 Public Posts - Thu Feb 01, 2024
2 Public Posts - Tue Feb 06, 2024
क्या भभुआ शहर और मुंडेश्वरी धाम तक रेल लाइन नहीं पहुंचना चाहिए? क्या एनएच 30 के दोनों ओर बसी एक बड़ी आबादी को रेल संपर्कता नहीं मिलनी चाहिए? कितने छोटे बड़े कस्बे और शहर हैं इस रोड के आसपास जो दशकों से रेल की मांग कर रहे हैं। इस रेल खंड के निर्माण होने से डीडीयू पटना मेनलाइन पर रेलगाड़ियों का दबाव भी कम हो सकता है। तीसरी और चौथी लाइन बनने की जो योजना है उस योजना में भी ये लाइन सहायक होगी।
2 Public Posts - Fri Feb 09, 2024